भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता और पूर्व वित्त मंत्री अरुण जेटली ने जम्मू-कश्मीर के मामले पर लगातार ट्वीट करके प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह को बधाई दी है. साथ ही उन्होंने विपक्ष को भी घेरा है. उन्होंने अपने पहले ट्वीट में लिखा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह ने कश्मीर नीति को लेकर जो कदम उठाया है वह असंभव था.
अरुण जेटली ने ट्वीट किया है कि उन्होंने अपने ब्लॉग में मोदी सरकार के इस फैसले की विवेचना की है. इसमें जम्मू-कश्मीर के मुद्दे को लेकर इतिहास में हुए असफल प्रयासों का भी जिक्र किया गया है।
दूसरे ट्वीट में उन्होंने कहा है कि सात दशकों से कभी भी जम्मू-कश्मीर को लेकर सही कदम नहीं उठाया गया. वहां जुड़ाव कि नहीं अलगाववाद की बात होती रही. इससे वहां पर अलगाववादी मानसिकता का विकास हुआ. पाकिस्तान कई दशकों से इसी मानसिकता का फायदा उठाता आया है. कांग्रेस पार्टी तो हेडलेस चिकन की तरह है. वो भारत के लोगों से अब दूर जा रहा है. नया भारत बदल चुका है. सिर्फ कांग्रेस इस बात को समझ नहीं पा रही है. कांग्रेस नेतृत्व लगातार रेस में नीचे से अव्वल आने की ओर भाग रही है।
1989-90 के दौरान जम्मू-कश्मीर नियंत्रण से बाहर हो गया था. अलगाववाद के साथ आतंकवाद भी तेजी से फैलने लगा. कश्मीरियत के अभिन्न हिस्से के रूप में मौजूद कश्मीरी पंडितों को उसी तरह की त्रासदी का सामना करना पड़ा जैसा नाजियों ने झेला था। नस्लीयता के शिकार कश्मीरी पंडितों को अपनी जगह छोड़कर जाना पड़ा।
